NCERT Solutions Class 8 दूर्वा Chapter-12 (आषाढ़ का पहला दिन कविता)

NCERT Solutions Class 8 दूर्वा Chapter-12 (आषाढ़ का पहला दिन कविता)

NCERT Solutions Class 8  दूर्वा 8 वीं कक्षा से Chapter-12 (आषाढ़ का पहला दिन कविता) के उत्तर मिलेंगे। यह अध्याय आपको मूल बातें सीखने में मदद करेगा और आपको इस अध्याय से अपनी परीक्षा में कम से कम एक प्रश्न की उम्मीद करनी चाहिए। हमने NCERT बोर्ड की टेक्सटबुक्स हिंदी दूर्वा केसभी Questions के जवाब बड़ी ही आसान भाषा में दिए हैं जिनको समझना और याद करना Students के लिए बहुत आसान रहेगा जिस से आप अपनी परीक्षा में अच्छे नंबर से पास हो सके।


Solutions Class 8 दूर्वा Chapter-12 (आषाढ़ का पहला दिन कविता)
एनसीईआरटी प्रश्न-उत्तर

Class 8 दूर्वा

पाठ-12(आषाढ़ का पहला दिन कविता)

अभ्यास के अन्तर्गत दिए गए प्रश्नोत्तर 

पाठ-12 (आषाढ़ का पहला दिन कविता)

Page No 83:

Question 1:

(क) किसान को बादलों का इंतज़ार क्यों रहता है?

(ख) कवि को वर्षा होने पर किसान की याद क्यों आती है?

(ग) कवि ने किसान की तुलना चातक पक्षी से क्यों की है?

उत्तर :

(क) किसान को बादलों का इतंजार इसलिए रहता है क्योंकि इससे वह अपने खेत सींच सकता है। अगर बारिश नहीं होगी तो तेज गर्मी से उसके खेत जल जाएँगे। इसी से वह पूरे जग को खाना देता है।

(ख) कवि को वर्षा के समय किसान की याद इसलिए आती है क्योंकि किसान की खेती से ही हम सबका पेट भरता है।

(ग) कवि ने किसान की तुलना चातक पक्षी से की है क्योंकि जैसे चातक पक्षी स्वाति नक्षत्र की बूंद ही पीता है अन्यथा प्यासा रह जाता है, उसी प्रकार किसान अपनी धरती की प्यास बुझाने के लिए वर्षा की प्रतिक्षा करता है।

Page No 83:

Question 2:

(क) कवि ने कविता में वर्षा ऋतु का वर्णन किया है। वर्षा ऋतु के बाद कौन-सी ऋतु आती है? उसके बारे में अपना अनुभव बताओ।

(ख) वर्षा ऋतु से पहले लोग क्या-क्या तैयारियाँ करते हैं? उनमें से कुछ लोगों के बारे में जानकारी एकत्र कर सूची बनाओ।

उत्तर :

(क) वर्षा ऋतु के बाद शरद ऋतु आती है। शरद ऋतु में सर्दी आती है। हल्की सर्दी आती है तो अच्छा लगता है। फिर सर्दी बढ़ती जाती है। उसमें बहुत से गर्म कपड़े पहनने पड़ते हैं। कोहरा जम जाता है। दूर का कुछ दिखाई नहीं देता। 

(ख) वर्षा ऋतु से पहले लोग छातें, बरसातियाँ ठीक करवा लेते हैं। मकान में कहीं दरार हो तो वह भी ठीक करवा लेते हैं। अनाजों में कीड़ा न लगे इसलिए उसमें दवाई डालते हैं।

Page No 83:

Question 3:

(क) तुम अपनी कक्षा में जब पहले दिन आए थे तो उस दिन क्या-क्या हुआ था? अपनी याद से अपने अनुभव को दस वाक्यों में लिखकर दिखाओ।

(ख) तुम चाहो तो 'पहला दिन' शीर्षक पर कुछ पंक्तियों की कोई कविता भी लिखकर दिखा सकते हो।

उत्तर :

(क) जब मैं पहले दिन कक्षा में आया तो एक अजनबी की तरह बैठा हुआ था। सभी बच्चे एक दूसरे से बातें कर रहे थे। लंच टाइम में मैंने पास बैठे साथी से बात करने के अपने लाए लंच खा लो कह कर बात शुरू की। हमारी टीचर ने भी सबसे पहले मेरा नाम पूछा। टीचर ने एक अच्छे विद्यार्थी को कहा कि वह अपनी कापियाँ मुझे दिखा दे। ताकि मैं काम पूरा कर सकूँ। टीचर बहुत अच्छी है। मेरे सभी साथी धीरे-धीरे मुझसे बात करने लगे। गेम्स पीरियड में हम साथ खेले। पहले दिन ही मुझे बहुत अच्छा लगा।

(ख) पहला दिन

पहले दिन में स्कूल को पहुँचा,

टीचर जी ने मेरा नाम था पूछा।

बड़े प्यार से मुझे बिठाया,

अच्छा-अच्छा पाठ पढ़ाया।

साथी भी थे मेरे अच्छे,

पढ़ने में कुछ बढ़िया पर कुछ कच्चे,

पर सब थे मन के सच्चे।

मुझे लगा बहुत ही अच्छा,

पहले दिन जब मैं स्कूल पहुँचा।

Page No 84:

Question 4:

क्या होगा– 

(क) अगर वर्षा बिलकुल ही न हो।

(ख) अगर वर्षा बहुत अधिक हो।

(ग) अगर वर्षा बहुत ही कम हो।

(घ) वर्षा हो मगर आँधी-तूफ़ान के साथ हो।

(ङ) वर्षा हो मगर तुम्हारे स्कूल में छुट्टियाँ हों।

उत्तर :

(क) अगर वर्षा बिल्कुल न हो तो सूखा पड़ जाएगा। नदी-नाले सब सूख जाएँगे। धरती का तल सूखने से चटक जाएगा। खेती नहीं होगी जिससे खाने को अनाज नहीं मिलेगा।

(ख) अगर वर्षा बहुत अधिक होगी तो बाढ़ आ जाएगी। सब कुछ पानी में बह जाएगा। जान और माल दोनों की हानि होगी। 

(ग) अगर वर्षा बहुत कम होगी तो गर्मी व उमस रहेगी। पर्यावरण ठीक नहीं होगा। बहुत अच्छा अनाज नहीं होगा। कहीं-कहीं पानी की बहुत कभी भी हो सकती है।

(घ) वर्षा अगर आँधी तूफान के साथ होगी तो बहुत नुकसान होने की आशंका रहेगी। पेड़, मकान आदि टूट सकते हैं और जान-माल दोनों की हानि होगी।

(ङ) वर्षा में अगर हमारी छुट्टियाँ हो तो बहुत अच्छा लगेगा। रोज़ बारिश में नहाएँगे। कभी साथियों के साथ पिकनिक पर भी जाएँगे।

Page No 84:

Question 5:

कवि अपनी कल्पना से शब्दों के हेर-फेर द्वारा कुछ चीज़ों के बारे में ऐसी बातें कह देता है, जिसे पढ़कर बहुत अच्छा लगता है। तुम भी अपनी कल्पना से किसी चीज़ के बारे में जैसी भी बात बताना चाहो, बता सकते हो। हाँ, ध्यान रहे कि उन बातों से किसी को कोई नुकसान न हो। शब्दों के फेर-बदल में तुम पूरी तरह से स्वतंत्र हो।

उत्तर :

मैं एक खेत की सैर करने गया। पीली सरसों के खेत लहलहा रहें थे। ऐसा लग रहा था मानों हरी मखमली ज़मीन पर पीली चादर पड़ी है। उस पर ओस की छोटी-छोटी बूदें चमकते हुए मोती और ज़री जैसे लग रहे थे।

Page No 84:

Question 6:

तुमने इस कविता में एक कवि, जिसने इस कविता को लिखा है, उसके बारे में जाना और इसी कविता में एक कवि कालिदास के बारे में भी जाना। अब तुम बताओ– 

(क) तुम्हारे प्रदेश और तुम्हारी मातृभाषा में तुम्हारी पसंद के कवि कौन-कौन हैं?

(ख) उनमें से किसी एक कवि की कोई सुंदर-सी कविता, जो तुम्हें पसंद हो, को हिंदी में अनुवाद कर अपने साथियों को दिखाओ।

उत्तर :

(क) कबीरदास, रैदास, सूरदास, मीरा, बिहारी, मैथिली शरण गुप्त, सुमित्रा नन्द पंत, गोपाल दास नीरज, जयशंकर प्रसाद, महादेवी वर्मा, अशोक चक्रघर, आदि पसंद हैं।

(ख) रहीम ब्रजभाषा के कवि थे। उनकी एक रचना इस प्रकार है-

तरुवर फल नहिं खात है, सरवर पियत न पान।

कहि रहीम परकाज हित, संपति-सचहिं सुजना।।

अर्थ- पेड़ अपना फल न खाकर दूसरों की भूख मिटता है और सरोवर अपना जल न पीकर दूसरों की प्यास बूझाता है। अर्थात यह दोनों दूसरों के लिए कार्य करते हैं। रहीम कहते हैं कि इसी प्रकार हमें भी धन का संचय अपने लिए न करके दूसरों की सहायता के लिए करना चाहिए।

(आप स्वयं भी अपने प्रदेश के कवि की कविता ढूँढ़ने और उसका अनुवाद करने के लिए अपने माता-पिता, दादा-दादी या नाना-नानी से सहायता ले सकते हैं। उसके बाद अपने साथियों को अपनी कविताएँ दिखाएँ और इस विषय पर उनसे चर्चा करें।)

Page No 84:

Question 7:

नीचे शब्दों के बदलते रूप को दर्शाने वाला नमूना दिया गया है। उसे देखो और अपनी सुविधानुसार तुम भी दिए गए शब्दों को बदलो।

उठना

..................

..................

पढ़ना

..................

..................

करना

..................

..................

फहरना

..................

..................

सुनना

..................

..................

उत्तर :

उठना

उठाना

उठवाना

पढ़ना

पढ़ाना

पढ़वाना

करना

कराना

करवाना

फहरना

फहराना

फहरवाना

सुनना

सुनाना

सुनवाना

एनसीईआरटी सोलूशन्स क्लास 8 दूर्वा  पीडीएफ